डेली व्यास टाइम्स
सुसनेर
राजेश माली रिपोर्ट
सुसनेर। मुजफ्फरनगर-आगर, सुसनेर, सोयायट होते हुए रामगंजमंडी रेल मार्ग को शुरू करने की मांग लंबे समय से की जा रही थी। वर्ष 2019 के आम चुनाव के पूर्व भी सामाजिक कार्यकर्ता विष्णु भावसार ने पूरे जिले में अभियान की शुरुआत की, 5 हजार पत्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को मुजफ्फरनगर रामगंजमंडी और शामगढ़ हरदा रेलवे लाइन की मांग को लेकर बच्चों, युवाओं, युवाओं, महिलाओं और अन्य मित्रों के माध्यम से कार्यालय कार्यालय नई दिल्ली भेजा गया। अभी हाल ही में विधानसभा चुनाव के समय भी प्रचार में आए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से भी मंच पर वोकॉट रेलवे लाइन की मांग की गई थी। जिस पर मोहित अमित शाह ने मस्जिद रामगंजमंडी रेलवे लाइन के लिए 2 हजार करोड़ की लागत से डाली जाने वाली और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा भी शामगढ़ रेलवे लाइन की 45 साल पुरानी फेल शेयराने की बात कही थी। लेकिन जनता के इन प्रयासों और जन रचना के द्वारा भी इन प्रेमियों को उठाये जाने के परिणामस्वरूप अब इन गरीबों को सरकार से हरियाली मिल गई है और इसके छात्रों के लिए राशि की भी मंजूरी मिल गई है। विशाखापट्नम वर्ष में मध्य प्रदेश और राजस्थान को रेल मार्ग से जोड़ने की महत्वपूर्ण मांग को मंजूरी मिल गई है। अब मध्य प्रदेश के मस्जिदों से राजस्थान के झालावाड़ को आगर-सुसनेर मार्ग के माध्यम से रेल मार्ग से जोड़ा जाएगा। इसके बाद इस योजना को स्टार्टअप पर लाया जाएगा। बच्चों के लिए केंद्रीय रेल मंत्रालय ने चार करोड़ 75 लाख रुपये की मंजूरी दे दी है।
मुजफ्फरनगर आलोट संसदीय क्षेत्र के मिनिएचर अनिल पिपरिया ने उक्त जानकारी देते हुए बताया कि मुजफ्फरनगर-आगर, सुसनेर, सोयतकलां, झालावाड होते हुए रामगंजमंडी रेल मार्ग को शुरू करने की मांग लंबे समय से की जा रही थी। मुजफ्फरपुर से आगर होते हुए झालावाड़ की दूरी नई रेल मार्ग से काफी कम होगी। इसके निर्माण के लिए रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मांग की गई थी। एनिमल चौधरी ने बताया कि केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने रेल लाइन को मंजूरी दे दी है। इसके लिए अभी ट्यूटोरियल बनाया जाएगा। सरकार ने किसानों के लिए चार करोड़ 75 लाख रुपये दिए हैं।
मज़बूम से आगर के बीच में चलती हुई ट्रेन चलती थी
। धार्मिक नगरी मस्जिद से आगर के बीच कई दशक पहले रेल चलती थी। नीरो जेसन लाइन को धीरे-धीरे बंद कर दिया गया। आम लोगों की मांग के साथ-साथ एक बार फिर मुजफ्फरनगर के बीच रेल लाइन का सपना पूरा होता दिख रहा है।
नए रेल मार्ग से होते हुए यह
मच्छर से आगर, सुसानेर, सोयतकलां होते हुए झालावाड़ के बीच नए रेल मार्ग से जुड़े के साथ कई अन्य फायदे भी होने वाले हैं। सामाजिक कार्यकर्ता विष्णु भावसार का कहना है कि आगर, सुसनेर, सोयाट से मज़हब रेल मार्ग नहीं है। यह रेल मार्ग शुरू हो गया जिससे लोगों को मार्गदर्शन में काफी सुविधा मिलेगी। इसके अलावा मसा से झालावाड़ के बीच की दूरी भी काम होगी। अभी नागदा होते हुए झालावाड़ जाना है। नागदा में रेल के इंजन भी बदलते हैं, जिसमें करीब 30 मिनट का समय लगता है। इस रेल मार्ग की शुरुआत से सौंदर्य प्रसाधन का विकास भी होगा।
ऐसा माना जाता है कि जहां पर रेल नेटवर्क का विकास होता है, उस स्थान पर तेजी से विकास होता है। रेल मार्ग बनने से स्टेशन और अन्य कई निर्माण कार्य होते हैं, जिससे रोजगार के साथ-साथ सुविधाओं का विकास भी तेजी से होता है। व्यावसायिक सामग्री का भागीदार-सहायक भी सस्ता हो जाता है। वर्तमान स्थिति में मज़हब से आगर के बीच रेल मार्ग के बारे में जानकारी नहीं है। पूरे आगरा जिले में कहीं भी रेल सेवा उपलब्ध नहीं है।
चित्र 1: मुजफ्फरनगर रेलवे स्टेशन पर आगरा तक चलने वाली रेल का इंजन।